
सरकार द्वारा देश की अर्थव्यवस्था में सुधार करने के लिए लगातार प्रयास किया जा रहा है। आपदा की परिस्थितिओं को ध्यान में रखते हुए राज्य सरकारों ने भी कई तरह की योजनाओं बिहार सरकार ने मुख्यमंत्री अल्पसंख्यक रोजगार ऋण योजना (Mukhyamantri Alpsankhyak Rojgar Rin Yojana) का आरंभ किया है।
इस योजना के अंतर्गत बिहार सरकार द्वारा अल्पसंख्यक बेरोजगारों को रोजगार शुरू करने के लिए लोन की राशि प्रदान की जाती है। योजना के तहत लोन की राशि सीधे आवेदक के बैंक अकाउंट में ट्रांसफर की जाती है। बिहार राज्य के कोई भी अल्पसंख्यक बेरोजगार युवा योजना की आधिकारिक वेबसाइट पर जाकर ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं।
इस योजना के तहत बिहार के अल्पसंख्यक बेरोजगार युवाओं को लोन मुहैया कराकर खुद का व्यवसाय स्थापित करने में उनकी सहायता की जायेगी| योजना का उद्देश्य राज्य के सभी बेरोजगार युवा व् युवतियों को अधिक आत्मविश्वास, स्वतंत्र, आत्मनिर्भर बनाना है। बिहार अल्पसंख्यक रोजगार ऋण योजना बिहार सरकार द्वारा युवाओं को उद्यमशीलता व स्वरोजगार की ओर प्रेरित करने के लिए एक सर्वश्रेष्ठ पहल है। योजना का संदेश बिहार के अल्पसंख्यक व बेरोजगार युवाओं को व्यवसाय की गतिविधियों में शामिल करना है
मुख्यमंत्री अल्पसंख्यक रोजगार लोन योजना में सूबे के अल्पसंख्यक समुदाय जैसे मुस्लिम, ईसाई, सिख, बौद्ध, पारसी एवं जैन समुदाय के व्यक्तियों से विभिन्न व्यवसायों के लिए न्यूनतम 5% वार्षिक ब्याज दर पर लोन राशि उपलब्ध कराने हेतु आवेदन पत्र आमंत्रित किये गए है। लाभार्थियों का चयन राज्य सरकार के द्वारा गठित जिलास्तरीय चयन समिति के द्वारा किया जाएगा. चयन समिति से चुने हुए लाभार्थिओं की लिस्ट प्राप्त होने के बाद चयनित आवेदकों एवं जिला अल्पसंख्यक कल्याण पदाधिकारी-सह-प्रभारी पदाधिकारी के द्वारा एग्रीमेंट तथा गारंटी बॉन्ड निष्पादित (executed) होने के बाद ही लोन की राशि का भुगतान किया जाएगा.
मुख्यमंत्री अल्पसंख्यक रोजगार ऋण योजना की शुरुआत बिहार अल्पसंख्यक वित्तीय निगम समिति द्वारा की गई है। इस योजना के अंतर्गत बिहार के अल्पसंख्यक समुदाय के लोगों को 5 लाख तक का लोन रोजगार के अवसर बढ़ाने के लिए प्रदान किया जाएगा। इस योजना की शुरुआत साल 2012 में हुई थी. साल 2012 से लेकर 2016 तक इस योजना का बजट 25 करोड़ रुपए था और साल 2016-17 में यह बजट बढ़ाकर 75 करोड रूपए हो गया था। साल 2017 के बाद योजना का बजट 100 करोड़ रुपए प्रतिवर्ष कर हो गया।
इस योजना के अंतर्गत 5% की सालाना ब्याज दर पर आवेदकों को लोन दिया जायेगी| व्यव्साय की शुरुआत हेतु 3 माह की अवधि मानी जाएगी और इस अवधि में ब्याज की राशि नहीं लिया जाएगा| आवेदक अगर सभी किश्तों का भुगतान समय पर करते है तो उन्हें लोन पर 0.5 प्रतिसत की छूट दी जाएगी|
इस योजना में चुने हुए आवेदन पर स्वीकृति देते समय निगम द्वारा 0.5 प्रतिसत का शुल्क प्रोसेसिंग चार्ज के रूप में लिया जाएगा |
उम्मीदवार जो योजना के तहत पात्र है वे लघु या वृहदऋण (Small or large loan) के लिए नजदीकी बैंक से आवेदन पत्र लेकर उसे धनपूर्वक भरकर अपने जिला के जिला अल्पसंख्यक कल्याण पदाधिकारी के कार्यालय में आवेदन पत्र को आवश्यक कागजात के साथ हाथों- हाथ जमा करा सकते है या फिर डाक के माध्यम से भी जमा करा सकते है .
आवेदनकर्ता द्वारा किस्तों का भुगतान नहीं किए जाने पर साल की समाप्ति के बाद निगम द्वारा 1 प्रतिसत राशि दंड ब्याज के रूप में उनसे वसूल की जाएगी|
लोन की राशि निगम द्वारा 20 बराबर किस्तों में वसूल की जायेगी|
बिहार अल्पसंख्यक रोजगार लोन योजना (Bihar Minority Employment Loan Scheme) का लाभ उठाने के लिए सबसे पहले लाभार्थी को पंजीकरण करवाना होगा। इसके बाद चयन समिति द्वारालोन की राशि की मंजूरी देने से पहले उनका सपोर्ट सत्यापन रिपोर्ट Commissioner इंचार्ज को दिया जाएगा। इसके बाद उन्हें लोन देने का फैसला किया जाएगा और उनके दस्तावेजों पर कमिश्नरी प्रभारी द्वारा हस्ताक्षर किए जाएंगे। यह प्रक्रिया पूरी होने के बादलोन की राशि सीधे आवेदक के बैंक अकाउंट में ट्रांसफर की जाएगी।
ब्याज दर: 3 महीने के मोरटोरियम पीरियड (Loan Moratorium)के बाद 5% की साधारण ब्याज दर ऋण की राशि पर लगाई जाएगी।
EMI: लोन की राशि का 20 बराबर त्रैमासिक किस्तों में भुगतान किया जाएगा।
छूट: यदि लाभार्थी समय पर पूरी लोन की राशि का भुगतान कर देता है तो उन्हें ब्याज दर में 0.5 प्रतिशत की छूट प्रदान की जाएगी।
दंड राशि: यदि लाभार्थी सही समय पर किस्त का भुगतान नहीं करता है तो उन्हें पेनल्टी देनी होगी।
पोस्ट डेटेड चेक: आवेदक को बिहार अल्पसंख्यक रोजगार लोन योजना का लाभ उठाने के लिए 10 से 20 पोस्ट डेटेड चेक जमा करवाने होंगे।
यदि लोन 1 लाख रुपए का है: यदि लोन की राशि 1 लाख है गारंटर के तौर पर ऐसे व्यक्ति होने चाहिए जिनके पास या फिर जिनके माता-पिता के पास किराए की रसीद और अन्य दस्तावेज है।
यदि लोन 1 लाख से ज्यादा का है तो: यदि लोन 1 लाख से ज्यादा का है तो सरकार, अर्ध सरकार, बैंक, आयकर दाता, आंगनबाड़ी कार्यकर्ता शिक्षक से पंजीकृत मदरसे, आदि जिनके पास संपत्ति है वे योजना के तहत गारंटर होंगे।
(i) लघु ऋण (Small Loan) ट्रेड के लिए 2 लाख रुपया अधिकतम सीमा निर्धारित की गई है.
(ii) वृहद ऋण (Large Loan) ट्रेड के लिए 2 लाख से 5 लाख अधिकतम सीमा निर्धारित की गई है.
(iii) जिले के लिए निर्धारित ऋण राशि का 30% लघु ऋण में तथा 70% वृहद ऋण में स्वीकृति दी जायेगी.
(iv) अवांछनीय व्यवसायों (Undesirable occupations) जैसे शराब या किसी नशे का धंधा, जुआ घर, मानव शरीर व्यवसाय, ब्याज पर राशि देना, शेयर मार्केट में पैसा लगाना आदि को छोड़कर आवेदक किसी भी वैध व्यवसाय के लिए आवेदन दे सकते है.
बिहार के कई पिछड़े क्षेत्रों में बेरोजगार युवाओं के पास रोजगार के कोई भी साधन नहीं होते। जिस कारण यहाँ के लोगो में बेरोजगारी की अधिक समस्या होती है. इसी को देखते हुए बिहार सरकार ने मुख्यमंत्री अल्पसंख्यक रोजगार ऋण योजना की शुरुआत की है.
बिहार अल्पसंख्यक रोजगार योजना (Bihar Minority Employment Loan Scheme) वास्तव में बिहार सरकार द्वारा बेरोजगार लोगो को रोजगार के क्षेत्र में बेहतर प्रदर्शन करने के लिए प्रेरित करने के लिए एक बेहतरीन कदम है।